भारी बारिश और भूस्खलन से हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड और पंजाब समेत देश के कई हिस्से बुरी तरह प्रभावित। उत्तराखंड में कम से कम 17 और हिमाचल प्रदेश 25 लोगों की मौत, राहत और बचाव कार्य जारी।हिमाचल प्रदेश के कई हिस्सों में पिछले 24 घंटों के दौरान तेज बारिश से मरने वालों की संख्या बढ़कर 25 हो गई है। राज्य में पिछले दो दिन से जारी मूसलाधार बारिश के कारण बाढ़, भूस्खलन और पेड़ों के गिरने की कई घटनाएं हुई हैं। मौसम विभाग ने राज्यों के निचले और मध्यम पहाड़ी क्षेत्रों विशेष रूप से शिमला, सोलन, मंडी और कांगड़ा ज़िलों में तेज़ वर्षा की चेतावनी जारी की है। मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने राज्य के सभी उपायुक्तों को निर्देश दिया है कि वे स्थिति पर कड़ी निगरानी रखें और स्थानीय लोगों तथा पर्यटकों की सुरक्षा सुनिश्चित करें। खराब मौसम के मद्देनज़र शिमला, कुल्लू, बिलासपुर और सोलन जिले में आज सभी शैक्षिक संस्थान बंद रहेंगे। शिमला और चंबा जिला प्रशासन की ओर से जारी आदेश में सभी स्कूलों, कॉलेजों, विश्वविद्यालयों, आईटीआई, पॉलीटेक्निक और आंगनवाड़ी केंद्रों को फिलहाल बंद रखने के लिए कहा गया है। उत्तरकाशी के मोरी तहसील में, शनिवार रात को बादल फटने की घटना के बाद अचानक आई बाढ़ से भारी नुकसान हुआ है। घटना के बाद अब तक 8 लोगों के शव बरामद हुए है और कम से कम 10 लोग लापता बताये जा रहे हैं। बादल फटने से कई घरों को नुकसान हुआ है और बिजली और संचार सुविधाएं भी प्रभावित हुईं। एन डी आर एफ, एस डी आर एफ, भारत तिब्बत सीमा पुलिस और जिला प्रशासन बचाव कार्यों में लगे है। मौसम विभाग की चेतावनी के बाद राज्य के 12 जिलों में स्कूलों को बंद किया गया हैं। उत्तरकाशी के जिला मजिस्ट्रेट आशीष चौहान ने अरकोट में स्थिति का जायजा लिया। उन्होंने कहा आईटीबीपी, एसडीआरएफ और एनडीआरएफ की टीमें राहत और बचाव कार्य में जुटी हुई हैं। एसडीआरएफ द्वारा राहत सामग्री वितरण की जा रही है। मोरी तहसील से देहरादून लाए जा रहे मरीजों को लेने के लिए दून अस्पताल में इमरजेंसी विंग बनाया गया है.पंजाब के भाखड़ा बांध के गेट से अतिरिक्त पानी छोड़े जाने के बाद कई ज़िलों में अलर्ट कर दिया गया है। राज्य में बाढ़ से हालात खराब हो गये है। सेना राहत और बचाव कार्य में लगी है। ऐसे ही एक दल ने नवांशहर के जाल्ला माजरा गांव में एक फसे हुए ग्रामीण और उसके मवेशियों को बचाया। मौसम विभाग ने कई जिलों सहित जालंधर में रेड अलर्ट जारी किया है। लोगों को घर से बाहर न जाने की हिदायत की गयी है। दिल्ली सरकार ने भी एनसीआर के लिए बाढ़ की चेतावनी जारी की है और निचले इलाकों में रहने वाले लोगों को वहां से सुरक्षित स्थान पर जाने के लिए कहा है क्योंकि यमुना नदी में जलस्तर के खतरे के निशान को पार करने की संभावना है। कल शाम युमना नदी का जलस्तर 203.37 मीटर तक पहुंच गया है और इसके आज इसके बढ़ कर 207 मीटर तक पहुंचने की संभावना है क्योंकि हरियाणा के हथिनी कुंड बैराज से शाम छह बजे आठ लाख 28 हजार क्यूसेक पानी छोड़ा गया है । जल स्तर बढ़ने का चलते यमुना पर लोहे के पुल पर ट्रैफिक बंद किया गया। जल स्तर 204.88 मीटर पर पहुँचा। महाराष्ट्र के पुणे मंडल में बाढ़ की वजह से मरने वालों की संख्या कल बढ़कर 56 हो गयी है. अगस्त के दूसरे सप्ताह में आयी बाढ़ के कारण सांगली और कोल्हापुर प्रशासनिक मंडल के अंतर्गत पड़ने वाले पांच जिले और सोलापुर, पुणे एवं सतारा खंड के अन्य जिले बुरी तरह प्रभावित हुए हैं. केरल में बाढ़ की वजह से मरने वालों की संख्या बढ़कर 121 हो गयी है. मलप्पुरम के कवालप्पारा और वायनाड के पुथुमला में शवों का पता लगाने के लिए ग्राउंड पेनिट्रेटिंग रडार (जीपीआर) का इस्तेमाल किया जा रहा है जहां हुए भयंकर भूस्खलन ने दो गांवों का नामो-निशान मिटा दिया था।कर्नाटक में बारिश संबंधित घटनाओं में रविवार को मरने वालों की संख्या बढ़कर 76 हो गयी. यहां 10 और लोगों के शव मिले जबकि 10 लोग अब भी लापता बताये जा रहे हैं. राज्य के उत्तरी, तटीय और मलनाड क्षेत्र बारिश, बाढ़ और भूस्खलन की घटनाओं से बुरी तरह प्रभावित हुए हैं।